रायपुर

Lakhan Lal Dewangan: अपंजीकृत निर्माणी श्रमिकों को भी कार्यस्थल पर मृत्यु होने पर मिलेगी 1 लाख की सहायता राशि

Lakhan Lal Dewangan: विष्णुदेव सरकार के एक वर्ष पूर्ण होने पर श्रम विभाग देने जा रहा बड़ी राहत श्रम मंत्री श्री लखन लाल देवांगन के निर्देश पर योजना की कंडिका में किया जा रहा संशोधन

रायपुर, Lakhan Lal Dewangan:  प्रदेश में विष्णुदेव सरकार के एक साल पूर्ण होने पर निर्माणी श्रमिकों को बड़ी राहत मिलने जा रही है। अब ऐसे निर्माणी श्रमिक जो कि पंजीकृत नहीं है लेकिन कार्यस्थल पर दुर्घटना से मृत्यु हो जाती है तो उनके आश्रितों को एक लाख रुपए की सहायता राशि दी जाएगी।

गौरतलब है कि ऐसे निर्माणी श्रमिक जो कि छत्तीसगढ़ भवन एवं अन्य संनिर्माण कर्मकार कल्याण मंडल के अंतर्गत क्षेत्रों में कार्य करते हैं, लेकिन किसी कारणवश पंजीयन नहीं हो पाया होता है। इसी बीच कार्यस्थल में मृत्यु होने पर श्रमिक के आश्रितों को किसी तरह की आर्थिक सहायता राशि नहीं मिल पाती थी। श्रमिकों की इन परेशानियों को देखते हुए श्रम मंत्री सह अध्यक्ष छत्तीसगढ़ भवन एवं अन्य संनिर्माण कर्मकार कल्याण मंडल श्री लखन लाल देवांगन के निर्देश पर अब विभाग ने मुख्यमंत्री निर्माण श्रमिक मृत्यु एवं दिव्यांग सहायता योजना की अधिसूचना में आंशिक संशोधन करने जा रही है। अभी तक निर्माणी श्रमिक के सामान्य मृत्यु पर 1 लाख, कार्य स्थल पर दुर्घटना से मृत्यु होने पर 5 लाख, कार्यस्थल पर दुर्घटना से दिव्यांगता होने पर 2.50 लाख की सहायता राशि मिलती है। अब अपंजीकृत निर्माणी श्रमिक के कार्यस्थल पर दुर्घटना से मृत्यु होने पर एक लाख रुपए की आर्थिक सहायता राशि आश्रितों को दी जाएगी।

 Lakhan Lal Dewangan: एक साल में 1502 निर्माण श्रमिकों के आश्रितों को दी गई सहायता राशि

जनवरी से लेकर नवंबर तक कुल 1502 निर्माण श्रमिकों को मुख्यमंत्री निर्माण श्रमिक मृत्यु एवं दिव्यांग सहायता योजना का लाभ दिया गया है। श्रम मंत्री श्री लखन लाल देवांगन के निर्देश पर ऐसे निर्माणी श्रमिकों के आश्रितों को तत्काल सहायता राशि सीधे डीबीटी के माध्यम से की जा रही है।

Pooja Singh

खबर वह होती है जिसे कोई दबाना चाहता है। बाकी सब विज्ञापन है। मकसद तय करना दम की बात है। मायने यह रखता है कि हम क्या छापते हैं और क्या नहीं छापते। झूठे पर प्रहार, सच्चे की यार हूं।" (पत्रकारिता में 8 वर्षों से सक्रिय, इलेक्ट्रानिक से लेकर डिजिटल मीडिया तक का अनुभव, सीखने की लालसा के साथ राजनैतिक खबरों पर पैनी नजर).

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