बलौदाबाजार, Balodabazar Violence: बलौदाबाजार में हुई हिंसा के मामले में छत्तीसगढ़ सरकार एक्शन में है. गुरुवार को सरकार ने जिले के तत्कालीन कलेक्टर और एसपी को निलंबित कर दिया. इस पूरे मामले की जांच हाईकोर्ट के रिटायर जज सीबी बाजपेयी को सौंपी गई है. उनसे तीन महीने में राज्य सरकार (Balodabazar Violence) को पूरी रिपोर्ट सौंपने को कहा गया है. सतनामी समुदाय के धार्मिक स्थल को नुकसान पहुंचाने से लेकर हिंसा तक पूरे मामले की जांच वह ही करेंगे.
6 बिंदुओं पर होगी बलौदाबाजार हिंसा की जांच (Balodabazar Violence)
बलौदाबाजार हिंसा की जांच 6 बिंदुओं पर होगी. खास बात यह है कि पूरे मामले की जांच रिटायर जज सीबी बाजपेयी अकेले करेंगे. सरकार ने उन्हें तीन महीने में जांच पूरी करने का निर्देश दिया है. दंगे से लेकर अब तक की गई सभी कार्रवाई की जांच की जाएगी। बता दें कि 15 मई की रात समुदाय के धार्मिक स्थल गिरौदपुरी धाम से पांच किलोमीटर दूर मनाकोनी बस्ती स्थित बाघिन गुफा में स्थापित धार्मिक प्रतीक को क्षतिग्रस्त कर दिया गया था. जिसके बाद समुदाय के लोगों ने विरोध शुरू कर दिया. जो बाद में 10 जून को हिंसक हो गया.
वहीं इस मामले में राजनीति भी जमकर हो रही है. घटना को लेकर कांग्रेस और बीजेपी ने अलग-अलग कमेटियां बनाई हैं. कांग्रेस कमेटी में शामिल पूर्व सीएम भूपेश बघेल, नेता प्रतिपक्ष चरणदास महंत, पीसीसी चीफ दीपक बैज, पूर्व मंत्री शिव कुमार डहरिया ये सभी आज बलौदाबाजार पहुंच रहे हैं. इससे पहले भी 7 सदस्यीय टीम ने बलौदाबाजार का दौरा किया था. वहीं, बीजेपी ने इस मामले में पांच सदस्यीय कमेटी भी बनाई है.
खाद्य मंत्री दयालदास बघेल को भाजपा कमेटी का संयोजक बनाया गया है। इसके अलावा मंत्री टंकराम वर्मा, भाजपा प्रदेश उपाध्यक्ष शिवरतन शर्मा, अनुसूचित जनजाति मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष नवीन मारकंडे और पूर्व विधायक रंजना साहू को समिति का सदस्य बनाया गया है. बीजेपी की जांच कमेटी बलौदाबाजार जाकर घटना की विस्तृत रिपोर्ट बीजेपी अध्यक्ष किरणदेव सिंह को सौंपेगी.